सुखदेव सिंह के हत्यारों के एनकाउंटर तक नहीं होगा शपथ ग्रहण: करणी सेना
राजस्थान में राष्ट्रीय राजपूत करणी सेना के अध्यक्ष सुखदेव सिंह गोगामेड़ी की हत्या के विरोध में आज राजस्थान बंद का आह्वान किया गया है। करणी सेना ने चेतावनी दी है कि जब तक गोगामेड़ी के हत्यारों का एनकाउंटर नहीं किया जाता, तब तक गोगामेड़ी का शव नहीं लिया जाएगा और न ही नई सरकार का शपथ ग्रहण समारोह होने दिया जाएगा।
करणी सेना के राष्ट्रीय अध्यक्ष महिपाल सिंह मकराना ने कहा कि सुखदेव सिंह गोगामेड़ी एक राजपूत योद्धा थे। उनकी हत्या एक साजिश के तहत की गई है। उन्होंने कहा कि जब तक गोगामेड़ी के हत्यारों का एनकाउंटर नहीं किया जाता, तब तक हम किसी भी तरह का समझौता नहीं करेंगे।
मकराना ने कहा कि यदि सरकार ने हमारी मांगें नहीं मानीं, तो हम 7 दिसंबर को होने वाले शपथ ग्रहण समारोह को भी रोक देंगे। उन्होंने कहा कि राजस्थान में कानून-व्यवस्था की हालत खराब है। सरकार को इस मामले पर गंभीरता से विचार करना चाहिए। राजस्थान सरकार ने इस हत्याकांड की जांच के लिए एक एसआईटी का गठन किया है। एसआईटी जल्द से जल्द आरोपियों को गिरफ्तार करने का दावा कर रही है।
हत्या में एक बार फिर से कुख्यात गैंगस्टर लॉरेंस बिश्नोई के ग्रुप का नाम सामने आया है। गोगामेड़ी की हत्या के ठीक बाद सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म फेसबुक पर रोहित गोदारा कपूरीसर नाम की प्रोफाइल से एक पोस्ट वायरल हो रही है जिसमें करणी सेना के अध्यक्ष की हत्या की जिम्मेदारी ली गई है। पोस्ट में लिखी बातों से लग रहा है कि आरोपी बिश्नोई गैंग का सदस्य है।
राष्ट्रीय राजपूत करणी सेना के राष्ट्रीय अध्यक्ष सुखदेव सिंह गोगामेड़ी की हत्या पर राजस्थान के डीजीपी उमेश मिश्रा ने कहा कि आज जयपुर में करणी सेना प्रमुख सुखदेव सिंह गोगामेड़ी की हत्या कर दी गई। हत्यारे उनके घर पर किसी बात पर चर्चा करने के बहाने आए थे। इस घटना में सुखदेव सिंह गोगामेड़ी और उनके एक अंगरक्षक को गोली लगी। हत्यारों के साथ आए एक आरोपी को भी गोली लगी, जिसकी मौत हो गई है।
बदमाशों के संभावित ठिकानों पर छापेमारी की जा रही है। हमने हरियाणा डीजी से बात की और सहायता मांगी है। हत्या की जिम्मेदारी रोहित गोदारा गैंग ने ली है, उन्हें जल्द ही गिरफ्तार कर लिया जाएगा। बता दें कि, सुखदेव सिंह गोगामेड़ी की हत्या 3 दिसंबर को जयपुर में हुई थी। बताया जाता है कि दो बाइक सवार बदमाशों ने उनके घर में घुसकर उन्हें 17 गोलियां मारी थीं। गोगामेड़ी की हत्या के बाद राजपूत समाज में आक्रोश है।