कंगना को जेल में डालो, सिख समुदाय, अकाली दल सहित कांग्रेस ने FIR दर्ज कराई अपने ऊटपटांग बयानों को लेकर कुख्यात कंगना रनौत की मुश्किलें बढ़ती नज़ार आ रही है।
कंगना के उटपटांग बयानों से नाराज़ दिल्ली सिख गुरुद्वारा प्रबंधक समिति, कांग्रेस की युवा इकाई के राष्ट्रीय सचिव अमरीश रंजन पांडे और संगठन के विधि प्रकोष्ठ के सह-समन्वयक अंबुज दीक्षित ने पुलिस में कंगना के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई है।
बॉलीवुड की ‘पंगा क्वीन’ के नाम से पहचानी जाने वाली कंगना रनौत समय समय पर विवादास्पद एवं भडकाऊ बयान देती रहती है। प्रधानमंत्री मोदी द्वारा विवादित कृषि कानूनों को निरस्त करने की घोषणा के बाद कंगना ने तीखी टिपण्णी करते हुए एक बार फिर सिख समाज के खिलाफ ज़हर उगलते हुए उन्हें खालिस्तानी बता डाला जिसे लेकर अब हंगामा मचा हुआ है।
कांग्रेस की युवा इकाई के राष्ट्रीय सचिव अमरीश रंजन पांडे और संगठन के विधि प्रकोष्ठ के सह-समन्वयक अंबुज दीक्षित और दिल्ली सिख गुरुद्वारा प्रबंधक समिति ने पुलिस में कंगना के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई हैं।
दिल्ली सिख गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी के अध्यक्ष मनजिंदर सिंह सिरसा ने सिख समुदाय के खिलाफ कंगना की अपमानजनक टिप्पणी को लेकर निशाना साधते हुए कहा कि सरकार को उसके खिलाफ कार्रवाई करनी चाहिए। मनजिंदर सिंह सिरसा ने ट्वीट करते हुए कहा कंगना को या तो मानसिक रोग अस्पताल भेजा जाए या फिर जेल में डाला जाए।
गुरुद्वारा प्रबंधक समिति का कहना है कि कंगना रनौत ने हाल ही में सोशल मीडिया पर अपने पोस्ट में जानबूझकर किसानों के प्रदर्शन को खालिस्तानी आंदोलन बताया है। अदाकारा ने सिख समुदाय के खिलाफ अपमानजनक एवं आपत्तिजनक भाषा का प्रयोग किया है। सिख समुदाय की भावनाओं को आहत करने एवं अपराधिक मंशा के तहत इस पोस्ट को तैयार करते हुए साझा किया गया। इसलिए हम आपसे प्राथमिकता के आधार पर शिकायत पर संज्ञान लेने एवं एफआईआर दर्ज करने के बाद कड़ी का कानूनी कार्रवाई का अनुरोध करते हैं।
कांग्रेस की युवा इकाई ने भी कंगना के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराते हुए कहा कि कंगना रनौत एक अभिनेत्री है जिसके इंस्टाग्राम पर 78 लाख से अधिक फॉलोवर हैं। उसने जानबूझकर गैर जिम्मेदाराना और राजद्रोहात्मक पोस्ट किए जो देश के प्रति घृणा, अवमानना और वैमनस्य भड़काने में सक्षम है। कांग्रेस युवा इकाई के राष्ट्रीय सचिव अमरीश रंजन पांडे ने कंगना रनौत के खिलाफ भारतीय दंड संहिता की धारा 124 ए (राजद्रोह) धारा 504 ( शांति भंग करने के इरादे से जानबूझकर किया गया अपमान) और धारा 505 ( सार्वजनिक शरारत करने वाले बयान) के तहत एफआईआर दर्ज करने के लिए शिकायत दर्ज कराई है।
याद रहे कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने जब कृषि क़ानून वापस लेने की घोषणा की तो एक सोशल मीडिया यूजर के जवाब में कंगना रनौत ने लिखा था कि अगर सड़क पर लोगों ने कानून बनाना शुरू कर दिया है और निर्वाचित सरकार संसद में यह कार्य नहीं करे तब फिर यह एक जिहादी राष्ट्र है और उन सभी को बधाई जो इसे पसंद करते है।
कंगना रनौत ने हाल ही में भूतपूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी की तस्वीर पोस्ट करते हुए बयान दिया था कि खालिस्तानी आतंकवादी आज भले ही सरकार का हाथ मरोड़ रहे हो लेकिन उस महिला को मत भूलना। एकमात्र महिला प्रधानमंत्री ने इनको अपनी जूती के नीचे कुचल दिया था। कंगना ने सिख समुदाय के खिलाफ अपना बयान जारी रखते हुए लिखा कि उन्होंने इस देश को कितनी भी तकलीफ दी हो, उन्होंने अपनी जान की कीमत पर उन्हें मच्छरों की तरह कुचल दिया लेकिन देश के टुकड़े नहीं होने दिए। उनकी मृत्यु के दशकों के बाद आज भी उसके नाम से कांपते हैं यह। इनको वैसा ही गुरु चाहिए।
कंगना की इस बयानबाजी से नाराज गुरुद्वारा प्रबंधक समिति के प्रमुख एवं शिरोमणी अकाली दल के नेता मनजिंदर सिंह सिरसा ने कहा कि मुझे लगता है कि वह मानसिक रूप से बीमार है। प्रधानमंत्री ने जो कानून वापस लिए हैं वह खालिस्तानियों के आगे झुके हैं। इतना ही नहीं उसने यह तक कहा है कि इंदिरा गांधी ने इनको पैरों तले कुचला था। यह बहुत ही घटिया बयान है। सरकार ने कंगना को सुरक्षा दे रखी है। मैं सरकार से अपील करता हूं कि उसे सुरक्षा की नहीं बल्कि एक अस्पताल की जरूरत है जहां उसका इलाज हो सके।