मोदी सरकार, सोरोस के प्रत्यर्पण की मांग क्यों नहीं करती?: सुप्रिया
कांग्रेस ने सवाल उठाया है कि, यदि जॉर्ज सोरोस भारत विरोधी गतिविधियों में शामिल हैं तो मोदी सरकार अमेरिका से उनका प्रत्यर्पण क्यों नहीं मांगती? पार्टी की प्रवक्ता सुप्रिया श्रीनेत और सांसद कार्ति चिदंबरम ने सोरोस के नाम पर की जा रही राजनीति पर आलोचना की। सुप्रिया श्रीनेत ने कहा कि सच्चाई यह है कि पीएम मोदी के नेतृत्व वाली सरकार जॉर्ज सोरोस के नाम पर एक कहानी बना कर असलियत को छिपाने की कोशिश कर रही है। उन्होंने कहा कि अडानी को बचाने के लिए बीजेपी और मोदी सरकार सोरोस के नाम पर ड्रामा कर रही है।
उन्होंने सवाल किया कि यदि सोरोस देश विरोधी गतिविधियों में शामिल हैं तो बीजेपी नेताओं के रिश्तेदार उनकी कंपनियों से क्यों जुड़े हुए हैं और उसे क्यों चला रहे हैं? यदि वे देश विरोधी गतिविधियों में शामिल हैं तो भारतीय सरकार उनका प्रत्यर्पण क्यों नहीं कर रही है? उन्होंने कहा कि इन परिस्थितियों में तो यह होना चाहिए कि भारत में उनका व्यापार बंद कर दिया जाए, उनकी फंडिंग पर प्रतिबंध लगाया जाए और अमेरिकी सरकार को पत्र लिखा जाए कि जॉर्ज सोरोस हमारे देश के खिलाफ गतिविधियों में शामिल हैं, इसलिए उनके खिलाफ भारत में कार्रवाई की जाएगी।
श्रीनेत ने कहा कि सच्चाई यह है कि मोदी सरकार, सोरोस को पैसा दे रही है। उनकी ओपन सोसाइटी फाउंडेशन के प्रोजेक्ट्स 68 देशों में चल रहे हैं और इस फाउंडेशन की फंडिंग यूएन डेमोक्रेसी फंड से आती है। इस यूएन डेमोक्रेसी फंड में लगभग 45 देशों के दानदाता हैं, जिनमें भारत चौथे नंबर पर है। ऐसे में सवाल यह है कि मोदी सरकार यूएन डेमोक्रेसी को फंड क्यों दे रही है?
उन्होंने कहा कि “जॉर्ज सोरोस 1999 में भारत आए थे। उस समय अटल बिहारी वाजपेयी जी प्रधानमंत्री थे, और वह उस समय स्कॉलरशिप और फैलोशिप जैसी चीजें देते थे, फिर 2014 से सोरोस ने ग्रांट प्रोग्राम शुरू किया। अपनी कंपनी कैपिटल फ्लोट के संस्थापक, गौरव हिंदूजा और शशांक ऋषियासरंगा ने 40,000 छोटी उद्योगों, किसानों और स्टार्टअप्स को लगभग 300 मिलियन डॉलर की फंडिंग दी है। गौरव हिंदूजा और शशांक ऋषियासरंगा मोदी के साथ स्टेज शेयर करते हैं और दोनों सोरोस के पैसे से फंड चला रहे हैं।
सवाल यह है कि यदि सोरोस देश विरोधी काम कर रहे हैं तो पीएम मोदी उनके साथ स्टेज क्यों शेयर कर रहे हैं?” बीजेपी के पूर्व कोषाध्यक्ष और पश्चिम बंगाल के गवर्नर वेरन शाह की पोती प्रिया शाह की शादी शशांक ऋषियासरंगा से हुई है और उनकी शादी में बीजेपी के वरिष्ठ नेता जैसे आडवाणी और फडणवीस ने शिरकत की थी।
इसी तरह कांग्रेस के लोकसभा सदस्य, कार्ति चिदंबरम ने भी मोदी सरकार को आड़े हाथों लिया है। उन्होंने सरकार से संसद की कार्यवाही में विघ्न डालने की “बचकानी हरकतें” बंद करने की अपील करते हुए देश को अस्थिर करने वाली शक्तियों के खिलाफ कार्रवाई करने की चुनौती दी। कांग्रेस पार्टी के बड़े नेताओं के विवादित अमेरिकी निवेशक जॉर्ज सोरोस के साथ कथित संबंधों के मामले में संसद में हंगामे के संदर्भ में, चिदंबरम ने पत्रकारों से कहा कि “यदि सरकार को लगता है कि कोई व्यक्ति भारत को अस्थिर कर रहा है, तो वह उसके खिलाफ कार्रवाई क्यों नहीं करती?”
उन्होंने कहा कि सरकार को अमेरिका में भारत के दूतावास को बुला कर यह कहना चाहिए कि उनके देश का एक नागरिक भारत को अस्थिर कर रहा है। उन्होंने अफसोस जताया कि देश की शासक पार्टी संसद में भी ड्रामा कर रही है।