ईरान मीडिल ईस्ट में सबसे बड़ी मिसाइल शक्ति : सीआईए
ईरान और अमेरिका के संबंध सुधरने के बजाए दिन प्रतिदिन और तनावपूर्ण होते जा रहे हैं.
ईरान के साथ हुए परमाणु समझौते में अमेरिका की वापसी के लिए हो रही बातचीत अभी तक किसी नतीजे पर नहीं पहुंची है लेकिन ईरान को लेकर अमेरिका की तरफ से बयानबाज़ी तेज़ होती जा रही है.
ताज़ा मामला रूस और ईरान के बीच संभावित रक्षा सौदे को लेकर है जिसमे कहा जा रहा है कि तेहरान मास्को को सैंकड़ों ड्रोन विमान दे रहा है जिसमे घातक हथियार ले जाने में सक्षम ड्रोन भी हैं.
अब सीआईए के चीफ ने भी माना है कि ईरान परमाणु हथियार नहीं बना रहा है लेकिन उस के पास मीडिल ईस्ट में सबसे बड़ा मिसाइल भंडार है. सीआईए के प्रमुख विलियम जे. बर्न्स ने कहा कि ईरान परमाणु हथियार तो नहीं बना रहा है लेकिन उसका मिसाइल और ड्रोन विमान भी चिंता का विषय है.
तेहरान यात्रा पर पहुंचे पुतिन और ईरान की इस्लामी क्रांति के सुप्रीम लीडर आयतुल्लाह ख़ामेनई के साथ उनकी तस्वीरों पर बयान देते हुए सीआईए के प्रमुख विलियम जे. बर्न्स ने कहा कि यह तस्वीरें मुझे विचलित नहीं करती. रूस और ईरान को आजकल एक दूसरे की ज़रूरत है. दोनों देश प्रतिबंधों के दायरे में हैं और राजनैतिक संकट से निकलने के लिए कोशिश कर रहे हैं.
रूस को ईरान की ओर से ड्रोन दिए जाने की खबरों पर विलियम जे. बर्न्स ने कहा कि विदेश मंत्री ने सही कहा कि अगर रूस को ईरान ड्रोन देता है तो यह बहुत बुरा आईडिया होगा. हम इस बात को लेकर बहुत फिक्रमंद हैं.
बता दें कि इस से पहले अमेरिका के सीनियर अधिकारी जॉन किर्बी इ भी कहा था कि अमेरिका रूस और ईरान के बीच संभावित सौदे को लेकर चिंतित है. हम तेहरान और मास्को पर नज़र रखे हुए हैं.
इस से पहले अमेरिका के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता नेस प्राइड ने भी कहा था कि अगर ईरान रूस को ड्रोन विमान देता है तो दोनों देशों को और प्रतिबंधों के लिए तैयार रहना होगा.