अमेरिका की तुलना भारत वैक्सीनेशन में आगे: डॉ वीके पॉल, भारत के कोरोनावायरस टास्क फोर्स के प्रमुख, डॉ वी के पॉल ने कहा कि देश में कोविड-19 वैक्सीन की पहली खुराक लेने वालों की सख्या संयुक्त राज्य अमेरिका में कोविड -19 वैक्सीन के पहली खुराक लेने वालों से ज़्यादा हो गई है
इंडियन एक्सप्रेस के अनुसार स्वास्थ्य विशेषज्ञ डॉक्टर वी के पॉल ने समाचार एजेंसी एएनआई से बात करते हुए बताया कि आंकड़ों के अनुसार से भारत में वैक्सीन की कम से कम एक खुराक प्राप्त करने वालों की संख्या 17.2 करोड़ है। हम अपने देश में वैक्सीन की पहली खुराक प्राप्त करने वाले लोगों की संख्या के मामले में अमेरिका से आगे निकल गए हैं।
वैक्सीनेशन के बार में सरकार के रुख को दोहराते हुए उन्होंने कहा कि लोगों को वैक्सीनेशन कराने में लापरवाही से काम नहीं करना चाहिए क्योंकि Covid -19 मामलों में गिरावट आई है,
भारत में पिछले २४ घंटों में 1,20,529 कोरोना के मामले सामने आएं हैं। ये आंकड़ा पिछले कुछ दो महीने का सबसे काम आंकड़ा है
बता दें कि देश वर्तमान में रूस से तीन टीकों, कोवैक्सिन (भारत बायोटेक), कोविशील्ड (सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया) और स्पुतनिक वी का प्रबंध कर रहा है।
डॉ पॉल का ये बयान सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया (एसआईआई) को स्पुतनिक वी वैक्सीन के निर्माण के लिए भारत के ड्रग्स कंट्रोलर जनरल से ‘प्रारंभिक’ मंजूरी मिलने के एक दिन बाद आया है। एसआईआई वर्तमान में कोविशील्ड के लिए अपनी उत्पादन क्षमता बढ़ाने की प्रक्रिया में है, जो भारत में अब तक प्रशासित खुराक का लगभग 90 प्रतिशत है।
जबकि कंपनी पहले हर महीने वैक्सीन की लगभग 60-70 मिलियन खुराक बनाने में सक्षम थी, इसके सीईओ ने पहले कहा था कि जुलाई के अंत तक मासिक उत्पादन 100 मिलियन खुराक तक पहुंच जाएगा।
स्वास्थ्य विशेषज्ञ डॉक्टर वीके पॉल ने 12 साल से 17 आयुवर्ग के वैक्सीनेशन को लेकर कहा है कि इस आयुवर्ग के लिए भारत को वैक्सीन की 26 करोड़ डोज चाहिए होगी. उन्होंने ये भी कहा कि बच्चों पर कोवैक्सीन का ट्रायल चल रहा है और उन्हें अधिक समय नहीं लगेगा.