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मुस्लिम लीग छाप’ के बयान पर राहुल का पलटवार, झूठे दावों से इतिहास को बदला नहीं जा सकता

मुस्लिम लीग छाप’ के बयान पर राहुल का पलटवार, झूठे दावों से इतिहास को बदला नहीं जा सकता

कांग्रेस ने अपने घोषणापत्र की मुस्लिम लीग से तुलना करने वाली पीएम नरेंद्र मोदी की टिप्पणियों के खिलाफ सोमवार को चुनाव आयोग (ईसी) में शिकायत भी दर्ज कराई थी। अभी तक चुनाव आयोग ने किसी भी प्रकार का नोटिस भाजपा या मोदी को जारी नहीं किया है।

कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने बुधवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के कांग्रेस घोषणापत्र पर ‘मुस्लिम लीग छाप’ के प्रहार पर पलटवार करते हुए कहा कि राजनीतिक मंचों पर किए गए झूठे दावों के बावजूद इतिहास को बदला नहीं जा सकता है।

राहुल गांधी ने ‘एक्स’ (ट्विटर) पर एक पोस्ट में कहा, “यह चुनाव दो विचारधाराओं के बीच की लड़ाई है! ऐतिहासिक घटनाओं से पता चलता है कि किसने देश को विभाजित करने वाली ताकतों का पक्ष लिया और किसने इसकी एकता और आजादी के लिए लड़ाई लड़ी।”

पूर्व कांग्रेस प्रमुख राहुल ने कहा कि 2024 का लोकसभा चुनाव विचारधाराओं के टकराव का प्रतिनिधित्व करता है। एक तरफ कांग्रेस खड़ी है, जो भारत को एकजुट करने में अपनी भूमिका के लिए जानी जाती है, जबकि दूसरी तरफ विभाजन को कायम रखने वाले लोग हैं।

राहुल ने पूछा- “भारत छोड़ो आंदोलन के दौरान, किसने अंग्रेजों के साथ गठबंधन किया? जब भारत की जेलें कांग्रेस नेताओं से भरी हुई थीं, तब देश को विभाजित करने वाली ताकतों के साथ राज्यों में सरकार कौन चला रहा था?” उन्होंने कहा कि राजनीतिक मंचों से झूठ फैलाने के बावजूद इतिहास को बदला नहीं जा सकता है।

राहुल गांधी की यह प्रतिक्रिया तब आई है जब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और भाजपा दोनों ने बार-बार कांग्रेस के घोषणापत्र पर स्वतंत्रता पूर्व युग की मुस्लिम लीग से प्रेरित होने का आरोप लगाया है। पीएम मोदी अपनी रैलियों में कांग्रेस के घोषणापत्र को लगातार निशाना बना रहे हैं।

पीएम मोदी ने कई बार कहा- “हर पन्ने पर भारत के टुकड़े-टुकड़े करने की बू आती है। कांग्रेस का घोषणापत्र उसी सोच को दर्शाता है जो स्वतंत्रता आंदोलन के दौरान मुस्लिम लीग में थी। इस पर पूरी तरह से मुस्लिम लीग की छाप है और जो कुछ बचा है उस पर पूरी तरह से वामपंथियों का वर्चस्व है।”

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