सीरिया और इज़रायल के बीच अमेरिका की मध्यस्थता में संघर्ष-विराम
सीरिया और इज़रायल ने एक संघर्ष-विराम पर सहमति जताई है, जिसकी घोषणा तुर्की में अमेरिका के राजदूत टॉम बैरक ने की है। यह संघर्ष-विराम पिछले कई दिनों से सीरिया के दक्षिण-पश्चिमी सुवैदा क्षेत्र में हवाई हमलों और सांप्रदायिक हिंसा के बाद हुआ है। अमेरिकी राजदूत ने कहा, यह संघर्ष-विराम अमेरिका द्वारा समर्थित और तुर्की, जॉर्डन तथा सीरिया के पड़ोसी देशों द्वारा स्वीकार किया गया है। अमेरिकी राजदूत ने कहा, यह संघर्षविराम अमेरिका द्वारा समर्थित और तुर्की, जॉर्डन तथा सीरिया के पड़ोसी देशों द्वारा स्वीकार किया गया है।
राजदूत बैरक ने शनिवार तड़के X (पूर्व में ट्विटर) पर एक पोस्ट में कहा कि यह संघर्ष-विराम अमेरिका द्वारा “समर्थित” है और तुर्की, जॉर्डन तथा सीरिया के पड़ोसी देशों द्वारा “स्वीकार” किया गया है।
अपने पोस्ट में बैरक ने सभी द्रूज़, बद्दू और सुन्नी गुटों से हथियार डालने की अपील की और कहा कि वे “अन्य अल्पसंख्यकों के साथ मिलकर शांति और समृद्धि के साथ एक नई और एकजुट सीरियाई पहचान का निर्माण करें। हालांकि, सीरियाई या इज़रायली अधिकारियों की ओर से इस पर कोई आधिकारिक टिप्पणी अभी तक नहीं आई है।
एक इज़रायली अधिकारी, जिन्होंने नाम न छापने की शर्त पर बात की, ने शुक्रवार को पत्रकारों को बताया कि “दक्षिण-पश्चिम सीरिया में जारी अस्थिरता” को देखते हुए इज़रायल ने “सीरियाई आंतरिक सुरक्षा बलों को अगले 48 घंटों के लिए सुवैदा जिले में सीमित प्रवेश” की अनुमति देने पर सहमति जताई है।
बुधवार को इज़रायल ने दमिश्क के केंद्र में स्थित सीरिया के रक्षा मंत्रालय पर भारी हवाई हमले किए थे, और सुवैदा क्षेत्र में सीरियाई सरकारी बलों को भी निशाना बनाया था।
इज़रायल का दावा है कि वह सुवैदा में द्रूज़ अल्पसंख्यक की रक्षा के लिए यह हमले कर रहा है, जहां द्रूज़ और बद्दू सशस्त्र गुटों तथा सरकारी बलों के बीच जातीय संघर्ष में अब तक सैकड़ों लोगों की मौत हो चुकी है। हालांकि यह भी वास्तविकता है कि, जब भी इज़रयल किसी की रक्षा या आत्म रक्षा के लिए कोई हमला करता है तो केवल नरसंहार करता है। ग़ाज़ा और लेबनान इसका प्रतक्ष्य प्रमाण हैं।

