दक्षिणी लेबनान में इज़रायल की बफर ज़ोन बनाने की कोशिश: इज़रायली मीडिया
इज़रायली मीडिया की ताजा रिपोर्ट के अनुसार, इज़रायल दक्षिण लेबनान में एक “सुरक्षा क्षेत्र” (बफर ज़ोन) स्थापित करने की योजना बना रहा है, जिसका उद्देश्य हिज़बुल्लाह और अन्य सशस्त्र गुटों से अपनी सीमाओं को सुरक्षित रखना है। यह कदम उस क्षेत्र में सुरक्षा बढ़ाने के उद्देश्य से किया जा रहा है, जो लंबे समय से इज़रायल और हिज़बुल्लाह के बीच संघर्ष का केंद्र रहा है।
सुरक्षा क्षेत्र की आवश्यकता और उद्देश्य
इज़रायल का मानना है कि हिज़बुल्लाह जैसे संगठनों की गतिविधियों से सुरक्षा के लिए सीमावर्ती क्षेत्रों को मजबूत करना आवश्यक है। सुरक्षा अधिकारियों के अनुसार, दक्षिणी लेबनान में हिज़बुल्लाह की बढ़ती सैन्य क्षमताओं और हथियारों के भंडार को इज़रायल के लिए गंभीर खतरे के रूप में देखा जा रहा है। इस सुरक्षा क्षेत्र को बफर ज़ोन के रूप में देखा जा रहा है, ताकि इज़रायल की सीमाओं से दूर एक सुरक्षित सीमा बनाई जा सके, जिससे इज़रायली नागरिकों पर किसी भी हमले का खतरा कम हो सके।
अमेरिकी मध्यस्थता और संभावित समझौते
रिपोर्ट में यह भी बताया गया है कि अमेरिका के विशेष प्रतिनिधि अमोस होकस्टीन आने वाले दिनों में लेबनान के लिए एक युद्ध-विराम का प्रस्ताव प्रस्तुत कर सकते हैं। अमेरिकी मध्यस्थता का उद्देश्य है कि इज़रायल और लेबनान के बीच बढ़ते तनाव को कम किया जा सके और इस क्षेत्र में शांति स्थापित की जा सके। यह प्रस्ताव अस्थायी शांति के प्रयास के रूप में देखा जा रहा है, जो दोनों देशों के लिए संघर्ष के बजाय संवाद का रास्ता खोल सकता है।
इज़रायली सेना की तैयारियाँ
रिपोर्ट के अनुसार, इज़रायल ने अपनी सैन्य तैयारियों को पहले ही बढ़ा दिया है। इज़रायली सेना ने दक्षिणी लेबनान के सीमावर्ती इलाकों में अपनी उपस्थिति मजबूत कर ली है, और सेना को किसी भी संभावित खतरे से निपटने के लिए उच्चतम स्तर की तैयारी में रखा गया है। इज़रायली सैनिकों की तैनाती का उद्देश्य सीमावर्ती क्षेत्रों में किसी भी अप्रत्याशित घटना को नियंत्रित करना और जरूरत पड़ने पर तेजी से कार्यवाही करना है।
वॉशिंगटन पोस्ट की रिपोर्ट और संभावित जमीनी आक्रमण
वहीं दूसरी ओर, “वॉशिंगटन पोस्ट” ने लिखा है कि यदि युद्ध-विराम वार्ता असफल होती है, तो इज़रायल द्वारा लेबनान पर जमीनी आक्रमण की संभावनाएं बढ़ सकती हैं। इज़रायल के सुरक्षा अधिकारियों का कहना है कि किसी भी स्थिति में, वे पूरी तरह तैयार हैं और किसी भी संभावित खतरे को रोकने के लिए सैन्य रणनीतियों को तैयार कर रहे हैं। जमीनी आक्रमण की योजना इस बात पर निर्भर करेगी कि क्या वार्ता से कोई ठोस नतीजा निकलता है या नहीं।
इस सुरक्षा क्षेत्र की योजना और संभावित जमीनी आक्रमण से क्षेत्र में सुरक्षा संकट और अधिक बढ़ सकता है। यदि स्थिति नियंत्रित नहीं होती है तो इसके परिणाम न केवल लेबनान बल्कि पूरे पश्चिम एशिया पर भी गहरे हो सकते हैं। इज़रायल और लेबनान के बीच का तनाव आसपास के देशों को भी प्रभावित कर सकता है और क्षेत्रीय स्थिरता के लिए खतरा बन सकता है।