दुबई शासक ने ब्रिटिश कोर्ट का फैसला ठुकराया एनएसओ ने डील रद्द की दुबई के शासक पर अपनी पत्नी के फोन हैकिंग के आरोप लग रहे हैं।
दुबई के शासक शेख मोहम्मद बिन रशीद अल मकतूम ने अपने बच्चों की अभिरक्षा के लिए चल रहे विवाद के बीच अपनी पूर्व पत्नी और उनके वकीलों के फोन हैक करने की कोशिश की थी। इंग्लैंड हाईकोर्ट ने एक महत्वपूर्ण फैसला सुनाते हुए इस बात की जानकारी दी है।
कहा जा रहा है कि दुबई के शासक अपने इस कृत्य से अपनी पूर्व पत्नी एवं उनके वकीलों को डराने एवं धमकाने का प्रयास कर रहे थे हालांकि इस मुद्दे पर इंग्लैंड के हाईकोर्ट के एक महत्वपूर्ण फैसले को दुबई के शासक ने यह कहकर मानने से इनकार कर दिया है कि यह आधी अधूरी जानकारी पर आधारित निर्णय है।
शेख मोहम्मद बिन रशीद अल मकतूम ने एक बयान में कहा है कि मैंने अपने ऊपर लगे आरोपों का हमेशा खंडन किया है और मैं आगे भी ऐसा करता रहूंगा। ब्रिटिश हाईकोर्ट का निष्कर्ष उन सबूतों पर आधारित है जिनके बारे में मुझे या मेरे सलाहकारों को कुछ भी नहीं बताया गया है। इसलिए मैं यह मानता हूं कि यह अनुचित है।
ब्रिटिश हाईकोर्ट ने अपने फैसले में कहा है कि उन्होंने राज्यों के लिए राष्ट्रीय सुरक्षा जोखिम का मुकाबला करने, जॉर्डन के राजा अब्दुल्लाह की सौतेली बहन राजकुमारी हया बिन्ते हुसैन और उन से निकटता रखने वाले कुछ लोगों के फोन हैक करने के लिए इस्राईली फर्म द्वारा विकसित पेगासस सॉफ्टवेयर का इस्तेमाल किया है।
इतना ही नहीं उनके लिए काम करने वालों ने ब्रिटिश राजधानी लंदन में हया की संपत्ति के बगल में एक हवेली खरीदने की भी कोशिश की। अदालत के इस फैसले को सुनने के बाद जॉर्डन की राजकुमारी हया बिंतुल हुसैन बेहद डरी हुई हैं । वह खुद को शिकार , असुरक्षित और घुटन में महसूस कर रही हैैं।
72 वर्षीय दुबई के शासक मोहम्मद का अपनी 47 वर्षीय पूर्व पत्नी के साथ बच्चों की कस्टडी को लेकर लंबे समय से विवाद चल रहा है । हया
अपने दोनों बच्चों 13 वर्षीय जलीला और 9 वर्षीय जाएद के साथ ब्रिटेन चली आई थी। उन्होंने कहा था कि दुबई के शासक के साथ रहते हुए उन्हें अपनी सुरक्षा का डर है। कहा जाता है कि उनका अपने एक ब्रिटिश अंगरक्षक के साथ अफेयर भी था।
ब्रिटिश हाई कोर्ट ने यह फैसला अपनों से निष्कर्ष के बाद सुनाया है कि दुबई के शासक ने अपनी दो बेटियों का अपहरण किया था एवं उनके साथ दुर्व्यवहार करते हुए उनकी इच्छा के विरुद्ध जबरन अपने पास रख रखा था। इस निष्कर्ष पर पहुंचने के 19 महीने बाद ब्रिटिश हाई कोर्ट ने अपना फैसला सुनाया है।
वहीं पेगासस बनाने वाली इस्राईल की कंपनी एनएसओ ने इस सॉफ्टवेयर के माध्यम से दुबई के शासक द्वारा अपनी पूर्व पत्नी की जासूसी करने की खबरों के बाद संयुक्त अरब अमीरात के साथ अपने समझौते को रद्द कर दिया है।
आई मॉनिटर 24 की रिपोर्ट के अनुसार इस्राईली कंपनी ने संयुक्त अरब अमीरात के साथ अपने इस जासूसी उपकरण के समझौते को रद्द कर दिया है। इस्राईली कंपनी ने यह निर्णय ब्रिटिश हाई कोर्ट के उस फैसले के बाद लिया है जिसमें कहा गया है कि दुबई के शासक ने पेगासस का इस्तेमाल करते हुए अपनी पूर्व पत्नी एवं उनके वकीलों एवं निकट सहयोगियों की जासूसी का प्रयास किया है।