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हथियार छोड़ने की कोई भी कोशिश मंज़ूर नहीं: हमास नेता

हथियार छोड़ने की कोई भी कोशिश मंज़ूर नहीं: हमास नेता

हमास के राजनीतिक ब्यूरो के वरिष्ठ सदस्य मोहम्मद नज़्ज़ाल ने ग़ाज़ा के भविष्य की व्यवस्था और हथियारों पर अपना स्पष्ट और कड़े शब्दों में रुख रखा है। स्पुतनिक से बातचीत में नज़्ज़ाल ने कहा कि, हमास के लिए हथियारों का सवाल केवल सुरक्षा का नहीं, बल्कि «क़ब्ज़े की मौजूदगी» से जुड़ा एक अस्तित्वीय विषय है, इसलिए किसी भी तरह की निरस्त्रीकरण की मांग को वे मानने से इनकार करते हैं।

उन्होंने बताया कि हमास ने ग़ाज़ा के अगले चरण के लिए अपनी कुछ नीतियाँ तैयार की हैं जिन्हें वार्ता फिर से शुरू होने पर पेश किया जाएगा। नज़्ज़ाल का कहना था कि संक्रमणकालीन व्यवस्था के लिए ग़ाज़ा में प्रशासकीय जिम्मेदारी देने हेतु स्वतंत्र तकनीकी विशेषज्ञों (टेक्नोक्रेट) की एक समिति गठित की जानी चाहिए, जो स्थानीय प्रशासकीय कार्य संभाले और स्थिति स्थिर होने पर पश्चिमी तट व ग़ाज़ा में राष्ट्रपति और संसदीय चुनाव कराए जाएं।

मोहम्मद नज़्ज़ाल ने विशेष रूप से यह भी कहा कि वे किसी «हाई रिप्रेजेंटेटिव» या अंतरराष्ट्रीय अभिभावक के विचार के पक्ष में नहीं हैं। उनके मुताबिक़ फ़िलिस्तीनी जनता में ख़ुद शासन करने की पर्याप्त योग्यता और संसाधन मौजूद हैं और अंतरराष्ट्रीय संरक्षकता के बिना ही वे अपने भविष्य का फैसला कर सकते हैं।

हमास के प्रतिनिधि ने यह भी स्पष्ट किया कि किसी भी अंतरराष्ट्रीय तैनाती पर विचार करते समय मिशन की स्वरूप और सीमाएँ पहले साफ़ होनी चाहिए। उन्होंने कहा कि अंतर्राष्ट्रीय बल की भूमिका और उसके अधिकारों का विवरण देने के बाद ही प्रतिरोध यह तय कर सकेगा कि उसे स्वीकार किया जाए या अस्वीकार।

नज़्ज़ाल के बयानों से यह स्पष्ट होता है कि हमास फिलिस्तीनी स्वराज्य और सुरक्षा के सवाल पर कोई समझौता नहीं करेगा और ग़ाज़ा के भविष्य की व्यवस्था में अंतरराष्ट्रीय हस्तक्षेप पर उसकी शर्तें कड़े और स्पष्ट होंगी।

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