मुस्लिमों के खिलाफ मुहिम पर अल अज़हर यूनिवर्सिटी चिंतित, यूएनओ से अपील
मिस्र की विश्व प्रसिद्ध इस्लामी यूनिवर्सिटी अल अज़हर ने दुनिया भर में बढ़ते इस्लामोफोबिया को लेकर चिंता जताई है.
भारत में मुसलमानों के खिलाफ बढ़ते हमले और उन्हें प्रताड़ित करने की घटनाओं पर दुःख जताते हुए अल अज़हर ने संयुक्त राष्ट्र संघ से मांग की है कि वह दुनिया भर में बधित इस्लामोफोबिया की घटनाओं का मुक़ाबला करने के उपाय तलाश करे.
अल काहिरा 24 की रिपोर्ट के अनुसार भारत में मुसलमानों के खिलाफ बढ़ती हिंसक घटनाएं, पुलिस की ओर से बंदी गए मुस्लिम युवाओं के खिलाफ हिंसा, तथा पैग़ंबरे इस्लाम के अपमान करने के खिलाफ विरोध प्रदर्शन करने वालों के घर बुलडोज़र चलए जाने की निंदा करते हुए अल अज़हर यूनिवर्सिटी ने इसे एक ग़ैर इंसानी काम बताते हुए कहा कि यह एक वहशी और ह्यूमन राइट्स को पांवों तले रौंदने के समान है.
अल अज़हर ने कहा कि भारत में जो कुछ हो रहा है वह आस्था से खिलवाड़ और ईशनिंदा को अपराध बताने वाले क़ानूनों का मज़ाक़ उड़ाना है. अगर मुसलमानों के खिलाफ नफरत और घृणा के आधार पर ऐसा ही सुलूक जारी रहा तो इस से माहौल और खराब होगी, समाज में नफरत फैलेगी जिसका अंजाम अच्छा नहीं होगा और बेगुनाह लोगों का खून बहेगा.
अल अज़हर ने अंतर्राष्ट्रीय समुदाय, और यूएनओ समेत इंटरनेशनल संस्थाओं से मांग कि वह भारतीय मुसलामनों के खिलाफ चल रही इस मुहिम को रोके. उन पर हो रहे अत्याचार और उत्पीड़न को रोके और उनकी घरों पर चलाए जा रहे बुलडोज़र के मामलों की जाँच करते हुए उनकी हिफाज़त को यक़ीनी बनाने के लिए प्रभावी क़दम उठाए. अंतर्राष्ट्रीय समुदाय पूरे देश में मुसलमानों की धार्मिक आज़ादी और उनके खिलाफ चलाए जा रहे नफरत के मिशन को रोकने के लिए आगे आए.