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योगी मंत्रिमंडल में शामिल हुए ओमप्रकाश राजभर, दारा चौहान, सुनील शर्मा और अनिल कुमार

योगी मंत्रिमंडल शामिल हुए ओमप्रकाश राजभर, दारा चौहान, सुनील शर्मा और अनिल कुमार

लखनऊः लोकसभा चुनाव से पहले बीजेपी ने अपने सहयोगियों को चुनावी गिफ्ट दिया है। मंगलवार को यूपी में योगी आदित्यनाथ कैबिनेट के चार नए मंत्रियों ने शपथ ली। मंत्रिमंडल विस्तार के बाद यूपी में सीएम समेत मंत्रियों की संख्या 56 हो गई है। अब मंत्रिमंडल में सिर्फ पांच सीटें खाली हैं।

नियम के मुताबिक, किसी भी राज्य में विधानसभा के सदस्यों की कुल संख्या के 15 फीसदी सदस्य मंत्री बनाए जा सकते हैं। उत्तर प्रदेश विधानसभा में 404 सदस्य होते हैं। इस हिसाब से यूपी में 61 मंत्री बनाए जा सकते हैं। बता दें कि यूपी विधानसभा में 403 सदस्य चुनाव के जरिये सदन में आते हैं जबकि राज्यपाल की ओर से एक सदस्य को मनोनीत किया जाता है।

योगी आदित्यनाथ सरकार के दूसरे कार्यकाल में मंगलवार शाम को पहली बार हुए मंत्रिमंडल विस्तार में ओमप्रकाश राजभर और दारा सिंह चौहान समेत चार मंत्रियों को राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ने पद और गोपनीयता की शपथ दिलाई।

योगी आदित्यनाथ ने 2022 में मुख्यमंत्री के रूप में अपने दूसरे कार्यकाल के लिए पदभार संभाला था। उनके नेतृत्व वाले वर्तमान मंत्रिमंडल में मुख्यमंत्री सहित 18 कैबिनेट मंत्री हैं तथा 14 राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) और 20 राज्य मंत्री हैं। मंत्रिपरिषद में फिलहाल अधिकतम 60 मंत्रियों की सीमा के भीतर 52 सदस्य हैं।

राष्ट्रीय लोक दल के प्रमुख जयंत सिंह चौधरी ने शनिवार को दिल्ली में केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह और बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जे पी नड्डा से मुलाकात की थी और औपचारिक रूप से राजग में शामिल हो गए थे। विपक्षी दलों के समूह ‘इंडिया’ का हिस्सा रहे जयंत सिंह पिछले कुछ समय से बीजेपी के निकट होते दिख रहे थे और उनके पितामह पूर्व प्रधानमंत्री चौधरी चरण सिंह को केंद्र सरकार द्वारा ‘भारत रत्न’ दिये जाने के बाद यह करीबी बढ़ती गयी।

सुहेलदेव भारतीय समाज पार्टी (सुभासपा) प्रमुख ओम प्रकाश राजभर ने गृह मंत्री अमित शाह के साथ बैठक के बाद 16 जुलाई 2023 को राजग में अपनी वापसी की घोषणा की थी। राजभर ने 2017 में बीजेपी के साथ मिलकर चुनाव लड़ा था लेकिन बाद में उनके रिश्ते खराब हो गये और वह योगी सरकार से इस्तीफा दे दिया था। राजभर ने 2022 में सपा के साथ मिलकर चुनाव लड़ा और पिछले वर्ष सपा से गठबंधन तोड़कर पुन: एनडीए का हिस्सा बन गये।

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