बजट सत्र 2021 के दौरान, जम्मू कश्मीर पुनर्निर्माण (संशोधन) बिल लोकसभा में पास हो गया है। बिल पर चर्चा के दौरान केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने कहा कि बिल में कहीं नहीं लिखा है कि यह जम्मू कश्मीर को पूर्ण राज्य का दर्जा नहीं मिलेगा
अमित शाह ने कहा, “मैं फिर कहता हूँ कि इस बिल का जम्मू कश्मीर के पूर्ण राज्य से कोई लेना-देना नहीं है। समय आने पर जम्मू और कश्मीर को एक राज्य के रूप में दर्ज किया जाएगा।
लोकसभा में जम्मू कश्मीर पुनर्गठन (संशोधन) विधेयक, 2021 पर चर्चा के दौरान अमित शाह ने कहा कि संसद के कई सदस्यों ने कहा है कि जम्मू कश्मीर पुनर्गठन बिल 2021 लाने का मतलब है कि जम्मू और कश्मीर को राज्य का दर्जा नहीं मिलेगा, मैं बिल का नेतृत्व कर रहा हूं, मैं इसे लाया हूं, मैंने अपने इरादे साफ़ कर दिए हैं कि कहीं भी नहीं लिखा है कि जम्मू कश्मीर को राज्य का दर्जा नहीं मिलेगा। आप पता नहीं कहां से ये नतीजा निकाल रहे हैं?
I have said in this House & I say it again that this Bill has got nothing to do with the statehood of Jammu & Kashmir. Statehood would be given to Jammu & Kashmir at an appropriate time: Union Home Minister Amit Shah https://t.co/2AgL6Dnfuq
— ANI (@ANI) February 13, 2021
4जी इंटरनेट सुविधाएं दबाव में बहाल करने के आरोप पर जवाब देते हुए शाह ने कहा, “असदुद्दीन ओवैसी जी ने कहा कि 2जी से 4जी इंटरनेट सेवा को विदेशियों के दबाव में लागू किया है. उन्हें पता नहीं है कि यह यूपीए सरकार नहीं, जिसका वह समर्थन करते थे. यह नरेन्द्र मोदी की सरकार है, जो देश के लिए फैसले करती है.”
उन्होंने कहा, ‘‘यहां पूछा गया कि अनुच्छेद 370 हटाने के वक्त जो वादे किए गए थे, उनका क्या हुआ? मैं उसका जवाब जरूर दूंगा लेकिन पूछना चाहता हूं कि अभी तो अनुच्छेद 370 को हटे हुए केवल 17 महीने हुए हैं, आपने 70 साल क्या किया उसका हिसाब लेकर आए हो क्या?
बता दें कि सम्बोधन के दौरान शाह ने कांग्रेस पर निशाना साधते हुए कहा कि जिन्हें कई दशक देश में शासन करने का मौका मिला, वे अपने गिरेबां में झांककर देखें, क्या वो हमसे 17 महीने का हिसाब मांगने के लायक हैं या नहीं।
गृह मंत्री ने कहा, ‘‘मैं इस सदन को फिर से एक बार कहना चाहता हूं कि कृपया जम्मू कश्मीर की स्थिति को समझें. राजनीति करने के लिए कोई ऐसा बयान न दें, जिससे जनता गुमराह हो।