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1991 पूजा स्थलों के क़ानून का बीजेपी खुलकर उल्लंघन कर रही है: कांग्रेस

1991 पूजा स्थलों के क़ानून का बीजेपी खुलकर उल्लंघन कर रही है: कांग्रेस

कांग्रेस कार्यकारी समिति (CWC) की बैठक में ‘प्लेसेज ऑफ वर्शिप एक्ट 1991’ (पूजा स्थलों से संबंधित कानून) और ‘संभल हिंसा’ पर भी चर्चा की गई। शुक्रवार को हुई इस बैठक में हरियाणा और महाराष्ट्र में कांग्रेस की हार का विशेष रूप से विश्लेषण किया गया। खड़गे ने बैठक में कठोर फैसले लेने की आवश्यकता पर जोर दिया और संगठनात्मक स्तर पर बड़े बदलावों का समर्थन किया।

बैठक में राहुल गांधी ने यह सुझाव भी दिया कि जिम्मेदारी और जवाबदेही तय करने के लिए अगर डंडा चलाना पड़े तो चलाइए। कांग्रेस की बैठक में एक प्रस्ताव भी पारित किया गया जिसमें चुनाव आयोग पर पक्षपाती होने के आरोप लगाए गए और कहा गया कि चुनावी प्रक्रिया से समझौता किया गया है।

करीब चार घंटे लंबी CWC बैठक के बाद कांग्रेस नेताओं के सी. वेणुगोपाल, जय राम रमेश और पवन खेड़ा ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में विस्तृत जानकारी दी। पवन खेड़ा ने कहा, “संसद के शीतकालीन सत्र के दौरान CWC बैठक हुई। अब तक संसद सत्र तीन महत्वपूर्ण राष्ट्रीय मुद्दों पर चर्चा न करने के कारण असफल रहा। पहला व्यापारिक समूहों के माध्यम से भ्रष्टाचार का खुलासा, दूसरा मणिपुर में जारी हिंसा और पीएम मोदी का सभी जिम्मेदारियों से मुंह मोड़ना, तीसरा उत्तर प्रदेश में सांप्रदायिक तनाव।”

प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा गया कि CWC बैठक में ‘प्लेसेज ऑफ वर्शिप एक्ट 1991’ पर चर्चा हुई। राष्ट्रीय स्तर पर मौजूद मुद्दों पर बैठक में कहा गया कि पिछले 11 वर्षों में एक बड़ा वर्ग बेरोजगारी, महंगाई और बढ़ती असमानता से परेशान है। हमें उनकी मजबूत आवाज बननी है। कांग्रेस पार्टी का सत्ता में आना इसलिए जरूरी है क्योंकि हमारी सरकार होगी तो हम देश के 140 करोड़ लोगों के एजेंडे को लागू कर सकते हैं, भारत के विकास के एजेंडे को लागू कर सकते हैं।

पार्टी ने अपने प्रस्ताव में कहा है कि कांग्रेस, पूजा स्थलों के कानून 1991 के उस प्रावधान की पूरी तरह से समर्थक है जिसमें कहा गया है कि 15 अगस्त 1947 से पहले जो पूजा स्थल थे, वे वैसे के वैसे बने रहेंगे। बीजेपी इस कानून का खुलेआम उल्लंघन कर रही है।

बीजेपी को निशाने पर लेते हुए कहा गया कि “मणिपुर से लेकर संभल तक कई गंभीर मुद्दे हैं, बीजेपी का उद्देश्य अपनी नाकामियों से जनता का ध्यान हटाना है। यही वजह है कि वह कई धार्मिक मुद्दों को विभिन्न माध्यमों से हवा देने की कोशिश कर रही है।” प्रेस कॉन्फ्रेंस में यह भी कहा गया कि “बैठक में यह संकल्प लिया गया कि हमें सत्ता में बैठी विध्वंसक शक्तियों को हर हाल में हराना है। देश में विकास, शांति और भाईचारे की स्थापना करनी है क्योंकि हमने यह शानदार देश बनाया है। देश के करोड़ों लोग हमें ताकत देने के लिए तैयार हैं। हम उनका इंतजार कर रहे हैं। हम उन्हें निराश नहीं कर सकते।”

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