अमेरिकी सीनेट ने ट्रंप के टैरिफ़ युद्ध का विरोध किया
अमेरिकी सीनेट ने पाँच रिपब्लिकन सांसदों के समर्थन से एक प्रस्ताव पारित किया है, जिसमें डोनाल्ड ट्रंप द्वारा ब्राज़ील पर लगाए गए टैरिफ़ (शुल्क) को रद्द करने की मांग की गई है। अमेरिकी सीनेट ने 52 पक्ष और 48 विरोधी वोटों के साथ ट्रंप का ब्राज़ील के ख़िलाफ़ व्यापारिक युद्ध नीति का औपचारिक रूप से विरोध किया।
अमेरिकी समाचार एजेंसी एसोसिएटेड प्रेस ने इस मतदान पर टिप्पणी करते हुए लिखा, “डेमोक्रेट्स अब यह परख रहे हैं कि रिपब्लिकन सांसद, ट्रंप की व्यापार नीति का कितना समर्थन करते हैं।”
वर्जीनिया राज्य के डेमोक्रेट सीनेटर टिम केन इस प्रस्ताव के जनक थे। ट्रंप की ही पार्टी के पाँच सीनेटर — मिच मैककोनेल (केंटकी), टॉम टिलिस (नॉर्थ कैरोलिना), सुसान कॉलिन्स (मेन), लिसा मुर्कोव्स्की (अलास्का) और रैंड पॉल (केंटकी) — ने 47 डेमोक्रेट सीनेटरों के साथ मिलकर इस प्रस्ताव के पक्ष में वोट दिया।
रिपब्लिकन सीनेटर रैंड पॉल ने सदन में कहा कि ब्राज़ील के ख़िलाफ़ टैरिफ़ युद्ध “अमेरिकी उपभोक्ताओं पर टैक्स लगाने जैसा” है। उन्होंने कहा कि अमेरिकी संविधान के अनुसार “कर संबंधी कानून प्रतिनिधि सभा से शुरू होने चाहिए, लेकिन ये टैरिफ़ सीधे व्हाइट हाउस से लगाए जा रहे हैं।”
इस प्रस्ताव के पारित होने से उस राष्ट्रीय आपात स्थिति का अंत हो जाएगा जिसे ट्रंप ने ब्राज़ील पर 50% टैरिफ़ लगाने के लिए घोषित किया था। हालाँकि, प्रतिनिधि सभा में रिपब्लिकन पार्टी के बहुमत के कारण इस प्रस्ताव के पारित होने की संभावना बहुत कम है, क्योंकि सदन ने हाल ही में ऐसे नियम पारित किए हैं जो नेतृत्व को इस पर मतदान रोकने की अनुमति देते हैं।
यह भी लगभग तय माना जा रहा है कि ट्रंप, भले ही यह प्रस्ताव कांग्रेस से पारित हो जाए, उसे वीटो कर देंगे। एसोसिएटेड प्रेस ने लिखा, “सीनेट में यह मतदान दिखाता है कि, रिपब्लिकन पार्टी के भीतर भी कुछ सदस्य ट्रंप के टैरिफ़ के विरोध में हैं।”
डेमोक्रेटिक नेता चक शूमर ने कहा, “हर अमेरिकी जो सुबह उठकर कॉफ़ी का एक कप पीता है, वह ट्रंप की लापरवाह, मूर्खतापूर्ण और लगभग बचकानी टैरिफ़ नीति की कीमत चुका रहा है।” टिम केन ने अपने प्रस्ताव के समर्थन में उस दशकों पुराने कानून का हवाला दिया जो कांग्रेस को राष्ट्रपति की आपातकालीन शक्तियों को रोकने का अधिकार देता है और अल्पसंख्यक पार्टी को ऐसे प्रस्तावों पर मतदान करवाने की अनुमति देता है।
मतदान से पहले, उपराष्ट्रपति जेडी वेंस ने रिपब्लिकन सांसदों के साथ एक दोपहर भोज में भाग लिया और उन्हें समझाने की कोशिश की कि राष्ट्रपति को व्यापारिक सौदों पर बातचीत करने की अनुमति दी जानी चाहिए।
बैठक के बाद वेंस ने पत्रकारों से कहा, “राष्ट्रपति ट्रंप टैरिफ़ का इस्तेमाल इसलिए कर रहे हैं ताकि अमेरिकी मज़दूरों और किसानों को बेहतर सौदे मिल सकें। ब्राज़ील के ख़िलाफ़ टैरिफ़ युद्ध का विरोध करना, राष्ट्रपति के सबसे मज़बूत हथियार को छीनने जैसा है। मेरा मानना है यह एक बड़ी गलती है।”
पूर्व रिपब्लिकन नेता मिच मैककोनेल ने एक बयान में कहा, “टैरिफ़ से न सिर्फ़ निर्माण कार्य बल्कि खरीदारी भी महंगी हो जाती है। व्यापारिक युद्धों से होने वाले आर्थिक नुक़सान इतिहास में अपवाद नहीं बल्कि नियम हैं।”
रिपब्लिकन सीनेटर रैंड पॉल ने पत्रकारों से कहा, “आपात स्थितियाँ युद्ध, अकाल या बवंडर जैसी चीज़ों के लिए होती हैं। किसी की टैरिफ़ नीति पसंद न आना कोई आपात स्थिति नहीं है। यह आपातकालीन शक्तियों का दुरुपयोग है।”
राजनीतिक पर्यवेक्षकों के अनुसार, नेतन्याहू घरेलू राजनीतिक उद्देश्यों के लिए ग़ाज़ा में तनाव बढ़ाने के बेहद इच्छुक हैं, लेकिन अमेरिका इस प्रक्रिया में सबसे बड़ा अवरोध है। हर सैन्य कार्रवाई से पहले वाशिंगटन की अनुमति और निर्धारित स्तर के नुकसान व तनाव की सीमा तय की जाती है।

